Wednesday, March 20, 2013

बाल संस्कार का बीज रोपण अवश्य करे

बाल संस्कार का बीज रोपण अवश्य करे
सनातनी बाल संस्कार का बीज रोपण अवश्य करे "

शिशु के जन्म से लेकर उसके वयस्क होने तक उसे शिक्षित एवं संस्कारित करना पालन-पोषण या बाल संस्कार (पैरेन्टिंग) कहलाता है।गर्भ से शुरू होती है संस्कार की शिक्षा। यह सत्य है कि जैसा गर्भवती स्त्री विचार करती है, उसका वैसा ही प्रभाव उसके गर्भ पर पड़ता है।

सत्य है कि यदि युवा पीढ़ी संस्कारी होगी तो देश भी सुसंस्कृत होगा| यह तभी संभव है, जब हम अपने बच्चों का सही दिशा में पालन-पोषण करें, और इसका पहला कदम है स्वयं का संस्कारी होना| संस्कार का अर्थ सम+कार “सम” अर्थात सम्यक अच्छा, अच्छे “कार” अर्थात कार्य, कृति प्रत्येक कार्य ही अच्छा अर्थात संस्कार युक्त होना चाहिए|

संस्कार, अर्थात सद्गुणों का गुणा करना और दोषों का भागफल करना, अर्थात दोषों को कम करना| अच्छे संस्कार करना अर्थात बच्चे अपने माता पिता को प्रतिदिन “नमस्कार” करें| अन्यों की निंदा न करें| यह सब सिखाना… परन्तु वह भी केसे सिखाएं? मात्र तत्वज्ञान देकर नहीं, कथाएँ कहकर नहीं , चोकलेट-आइसक्रीम देकर नहीं, अपितु अपनी कृति द्वारा|... आपके समर्थन के लिए धन्यवाद ... जय हिन्द...

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